दुद्धी में विद्युत आपूर्ति 24 घंटे से बे पटरी।

- – 21वीं सदी में भी हल्का वर्षा होने पर गुल हो जाती है बिजली।
दुद्धी – सोनभद्र / जितेंद्र चंद्रवंशी – सोन प्रभात
दुद्धी सोनभद्र बरसात की हल्की बूंद की मेहरबानी क्या ईश्वर की हुई की बिजली रानी 24 घंटे से मुंह चिढ़ा कर चल दीं, यह व्यवस्था 21वीं सदी में भी बदस्तूर जारी है, सरकारी संस्थाएं विद्युत कटौती के कारण बुरी तरह प्रभावित है, कपकपाती ठंड में सड़के गलियां अंधेरों की भेंट चढ़ गई है, तकनीक की दुनिया में आगे बढ़ चुके देश में बीन मोबाइल जैसे ठप्प हो जाता है ऐसे में अगर उस क्षेत्र की विद्युत आपूर्ति 24 घंटे बाधित हो तो आम आदमी के परेशानी का अंदाजा लगाया जा सकता है, करने को तो हम ऊर्जाँचल जनपद के सबसे विद्युत उत्पादन का प्रमुख तहसील दुद्धी में रहते हैं, परंतु बिजली रानी की नखरे उपभोक्ताओं के लिए झुंझलाहट पैदा करती है, आचार संहिता क्या लगी की बेलगाम विभाग मानो हो गया हो, आम आदमी से लेकर खास आदमी तक मूकदर्शक बनकर तमाशा देखने को मजबूर है, क्या? यही स्वस्थ लोकतंत्र विश्व के सबसे बड़े देश का हैं जहां अपने कर्तव्यों के प्रति कोई जवाबदेही नहीं है, अधिकारों के लिए सड़कों पर उतरने को आमादा संस्थाएं कब अपनी जिम्मेदारियों का एहसास करेगी यह भगवान हीं जाने l विद्युत व्यवस्था बेपरी 24 घंटे से होने को लेकर आम जनमानस में गहरा आक्रोश देखा जा रहा है! क्या इस विषय पर निर्वाचन आयोग को संज्ञान नहीं लेना चाहिए, आचार संहिता का उल्लंघन के परिधि में ऐसी संस्थाओं को लोकतंत्र के महापर्व चुनाव में लाना क्या न्याय संगत नहीं होगा? यह चिंतनीय प्रश्न जनता के लिए है!