गांवो को स्वच्छ और प्लास्टिक मुक्त बनाने के लिए सामुदायिक प्रयास जरूरी।

केंद्र और राज्य सरकार गाँवो का विकास नही चाहती।
तीन दिवसीय प्रशिक्षको का प्रशिक्षण कार्यशाला में बोले विशेषज्ञ डॉ दिलीप दा।

सोनभद्र – सोन प्रभात / जितेंद्र चंद्रवंशी
बनवासी सेवा आश्रम के विचित्रा कक्ष में शुक्रवार को ग्राम सभाओं को मजबूत बनाने और विकसित करने के लिए सामुदायिक विकास विषयक तीन दिवसीय प्रशिक्षण कार्यशाला का उद्घाटन गाँधी और विनोबा के चित्र के सामने दीप प्रज्ज्वलित कर किया । पश्चिम बंगाल से आये पंचायत विशेषज्ञ डॉ दिलीप दा ने कहा कि वर्तमान स्थिति से बेहतर जीवन को विकास कह सकते है जिसमे बेहतर स्वास्थ्य, शिक्षा, पर्यावरण,शुद्ध पानी,मिल सके। कहा कि विकास का रास्ता प्रकृति का दोहन किये बिना होना चाहिए। उन्होंने फिल्म के जरिये ग्राम पंचायतों में सामुदायिक सहयोग से सफाई ,नालियों की सफाई ,प्लास्टिक मुक्त गांव बनाने के प्रयास पर प्रकाश डालते हुए आह्वान किया कि सप्ताह में सामूहिक रूप से श्रमदान कर यह प्रयास करे तो परिवर्तन दिखेगा। कहा कि पंचायत सभी काम सरकारी धन पर ही करे यह संभव और टिकाऊ नही है।कहा कि कोई हमरा विकास नही कर सकता इसके लिए स्वयं प्रयास करना होगा। विकास का भाव मन मे जगे ऐसा प्रयास स्वयं सेवको को करना चाहिए।

मिशन समृद्धि और बनवासी सेवा आश्रम द्वारा आयोजित शिविर में लगभग 40 प्रतिभागी उपस्थित रहे। इसके पूर्व शुभा प्रेम ने गांवो में किये जा रहे सामुदायिक कार्यक्रमों की जानकारी दी और बताया कि सामूहिक निर्णय,पंचायतो में सदस्यों की भागीदारी, बढ़ रही है।

मौके पर मिशन समृध्दि स्टेट मैनेजर शचि सिंह, मोंनदीप, आरिफा , पराग, सामाजिक कार्यकर्ता वीरेंद्र रॉय, देवनाथ सिंह उमेश चौबे, रमेश यादव, शिवनारायण, रघुनाथ भाई, रामसुभग, भारती सिंह, अमरजीत वर्मा, मीना , आदि उपस्थित रहे।