उल्लास भवन, जयंत में हुआ विराट कवि सम्मेलन का भव्य आयोजन — काव्य रसधारा में डूबा सिंगरौली.

सिंगरौली / संवाददाता — Suresh Gupta ‘Gwaliyari’ – Sonprabhat News 


मध्य प्रदेश हिन्दी साहित्यकार सम्मेलन, सिंगरौली के बैनर तले 9 नवम्बर को उल्लास भवन, जयंत में आयोजित विराट कवि सम्मेलन ने सिंगरौली की सांस्कृतिक धरती को काव्य रसधारा से सराबोर कर दिया। पूरे कार्यक्रम के दौरान हास्य, श्रृंगार, व्यंग्य और आध्यात्मिक काव्य का ऐसा अद्भुत संगम देखने को मिला जिसने श्रोताओं को देर रात तक बांधे रखा।

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि रहे श्री राजीव कुमार, महाप्रबंधक, एनसीएल जयंत क्षेत्र, जबकि विशिष्ट अतिथियों के रूप में डॉ. आर. डी. पाण्डेय (अध्यक्ष, बाल कल्याण समिति एवं प्रांतीय संयोजक आरोग्य भारती, महाकौशल प्रांत) तथा श्री अरविन्द सिंह चंदेल (पूर्व अध्यक्ष, जिला कांग्रेस कमेटी, सिंगरौली शहर) मंचासीन रहे।

 मां सरस्वती की वंदना से आरंभ हुआ काव्य महोत्सव

कार्यक्रम का शुभारंभ मां सरस्वती की पूजा-अर्चना, दीप प्रज्वलन और मंत्रोच्चार के साथ हुआ। इसके बाद अतिथियों एवं काव्य मनीषियों का माल्यार्पण, शाल एवं श्रीफल से स्वागत किया गया। स्वागत उपरांत मंच पर कविताओं की ऐसी गंगा बही जिसने वातावरण को पूर्णतः साहित्यिक भाव में रंग दिया।

काव्य प्रस्तुति से गूंज उठा उल्लास भवन

सबसे पहले कवयित्री शालिनी श्रीवास्तव ने अपनी मधुर वाणी में सरस्वती वंदना प्रस्तुत कर मंच की एकाग्रता और श्रद्धा का भाव स्थापित किया। इसके बाद कवि हरिविलास हरि ने अपने मुक्तक और गीतों से सभागार में गूंज भर दी।

मुंबई से पधारे प्रसिद्ध हास्य कवि मुजावर मालेगांवी ने अपने चुटीले गीतों और हास्य कविताओं से श्रोताओं को ठहाकों से लोटपोट कर दिया। मेरठ से आए कवि मनोज कुमार ‘मनोज’ ने अपने श्रृंगार रस से परिपूर्ण छंदों द्वारा दर्शकों की वाहवाही लूटी।

सीधी से आई कवयित्रियाँ कृतिका कृति और शालिनी श्रीवास्तव ने श्रृंगार परक गीतों के माध्यम से मन मोह लिया, वहीं डॉ. राजकरण राज की ग़ज़लों ने मानो हृदय के मरुस्थल में काव्य की मधुर मंदाकिनी प्रवाहित कर दी।

स्थानीय कवि पाणी पंकज पाण्डेय ने अपने आध्यात्मिक और आजपरक गीतों से सभागार को भाव-विभोर कर दिया। वहीं प्रसिद्ध व्यंग्यकार प्रविन्दु चंचल ने अपनी तीक्ष्ण व्यंग्य कविताओं से सामाजिक यथार्थ पर करारा प्रहार किया। कवयित्री विभा तिवारी ने अपने ओजपूर्ण गीतों से श्रोताओं के सुप्त अंतःकरण को झकझोर दिया।

कार्यक्रम के संयोजक एवं संचालक श्री कमल अज्ञान ने हास्य-व्यंग्य की रचनाओं से अनुरंजन और आनंद का ऐसा वातावरण निर्मित किया कि पूरा सभागार देर रात तक कविताओं की गूंज से झंकृत रहा।

सम्मान, सराहना और आभार

मुख्य अतिथि श्री राजीव कुमार ने अपनी अभिव्यक्ति में कहा कि —

“इस प्रकार के साहित्यिक आयोजन समाज के संवेदनशील पक्ष को जीवित रखते हैं। कवियों ने अपने शब्दों से जो संवेदना व्यक्त की, वह समाज को दिशा देने वाला है।”

इसके पश्चात् कार्यक्रम के संयोजक श्री कमल अज्ञान ने सभी कवियों, अतिथियों एवं उपस्थित श्रोताओं के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कार्यक्रम के समापन की घोषणा की।

 उपस्थित गणमान्य एवं जनभागीदारी

कार्यक्रम में डी. के. सिंह (परियोजना अधिकारी, जयंत परियोजना), रवि चतुर्वेदी (सचिव, बी.एम.एस.), अंकित सिंह (अध्यक्ष, बी.एम.एस.), राजकुमार द्विवेदी (अध्यक्ष, सी.एम.एस.), महेश गर्ग, सूबेदार सिंह (अध्यक्ष, के.एस.एस.), एस. पी. अग्निहोत्री, राजेन्द्र तिवारी, उपेन्द्र दुबे, मनोज दुबे, अजय दुबे (एडवोकेट), अर्चना द्विवेदी (टी.आई. विंध्यनगर) सहित बड़ी संख्या में साहित्यप्रेमी उपस्थित रहे और रात 12 बजे तक काव्यगंगा में अवगाहन करते रहे।

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