संवाददाता–संजय सिंह
आज बुधवार को राबर्ट्सगंज सदर ब्लाक अन्तर्गत रौप गांव में महिलाओं ने अपने पुत्रों की लम्बी आयु के लिए जिउतिया का व्रत रखा तथा गांव के टेकार नाथ मंदिर पर एकत्रित हो कर पुजा अर्चना की लोगों की मान्यता के अनुसार जिउतिया व्रत का संबंध महाभारत काल से भी जुड़ाव रहा है। कथा के अनुसार जब अश्वथामा ने पांडवों के सोते हुए सभी बेटों और अभिमन्यु के अजन्मे बेटे को मार दिया था, उस समय भगवान् श्रीकृष्ण ने अर्जुन के पोते को गर्भ में ही जीवित कर दिया। इसी वजह से अर्जुन के इस पोते का नाम जीवित्पुत्रिका पड़ा और मान्यता के अनुसार यही कारण है कि माताएं अपने बेटे की लंबी उम्र के लिए यह व्रत करती हैं।
जीवित्पुत्रिका व्रत कथा में सियारनी और चिल्ली का भी उल्लेख है इसी धार्मिक मान्यता के आधार पर माताएं अपने पुत्र की लंबी आयु के लिए यह व्रत रखती है. इस व्रत मे उपवास (प्रारंभ) वाले दिन सूर्योदय से पहले ही कुछ खाने-पीने का प्रथा है.
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